देवनागरी ध्वनिशास्त्र की दृष्टि से अत्यंत वैज्ञानिक लिपि है। - रविशंकर शुक्ल।

दीवानी सी | कविता

 (काव्य) 
Print this  
रचनाकार:

 डॉ सुनीता शर्मा | न्यूज़ीलैंड

एक औरत जो दफन बरसों से
उसने न जाने कैसे
सांसों के आरोह-अवरोह में
कहीं सपने चुनने-बुनने
आरंभ कर दिए...!

यूँ तो प्रकृति कहीं मरुस्थल-सी..
पर स्वेद-जल-समुद्र-से
पाकर प्रेम-ऊष्मा-ताप यूँ ही ..
बरसी-रिमझिम-पगलाई-सी..

भीगी कमली-सी
फ़िर ओढ़ तितली पंख-छतरी
नाची यूँ दीवानी-दीवानी सी..!

-डॉ॰ सुनीता शर्मा
 ऑकलैंड, न्यूज़ीलैंड
 ई-मेल: adorable_sunita@hotmail.com

[चिर-प्रतीक्षित]

Back
 
Post Comment
 
 

सब्स्क्रिप्शन

सर्वेक्षण

भारत-दर्शन का नया रूप-रंग आपको कैसा लगा?

अच्छा लगा
अच्छा नही लगा
पता नहीं
आप किस देश से हैं?

यहाँ क्लिक करके परिणाम देखें

इस अंक में

 

इस अंक की समग्र सामग्री पढ़ें

 

 

सम्पर्क करें

आपका नाम
ई-मेल
संदेश